एन्थ्रोपालजिस्ट मार्गरेट मीड ने कहा था कि पहले जब कोई दादी गोद में बिठाए अपने पोते के भविष्य के बारे में सोचती थी तो बहुत कुछ अपने वर्तमान जैसा भविष्य की परिकल्पना में होता था। जो ले-देकर सही भी था। पर आज जब कोई दादी अपने गोद में बैठे पोते की भावी ...
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